बचपन और बुढ़ापा ऐसी उम्र होती है जिनमें हमें दूसरों पर डिपेंडेंट रहना पड़ता है। बचपन में तो माता-पिता हमारा ध्यान रख लेते हैं, लेकिन बुढ़ापे में कुछ लोग अपने माता-पिता को बुजुर्ग होने के बाद वृद्ध आश्रम या अकेला रहने के लिए छोड़ देते हैं। जिससे बुढ़ापे में काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
इस आर्टिकल में एक ऐसी स्कीम के बारे में बताया गया है जिससे शुरुआत से ही पैसे इन्वेस्ट करने पर इंट्रेस्ट के साथ सारी इन्वेस्टमेंट अमाउंट पेंशन की तरह रिटर्न के साथ दी जाती है। जानते है Public Provident Fund Meaning in Hindi and many more.
हर किसी को बुढ़ापे में पैसों की जरूरत होती हैं। जब इन्सान कमाना शुरू करते हैं तब से शेविंग करने शुरू कर देते हैं। लेकिन महंगाई इतनी बढ़ चुकी है कि उनकी सेविंग खत्म हो जाती है और उनके पास बुढ़ापे में खर्च करने के लिए पैसे नहीं बचते। जिन्हें पेंशन नहीं मिलती उनके लिए बुढ़ापा काटना मुश्किल हो जाता है। यदि बच्चे साथ दें तो वह अच्छे से अपना जीवन व्यक्त कर सकते हैं।
एक ऐसी स्कीम जो 53 सालो से चलती आ रही है जिसकी वजह से इन्वेस्टमेंट अमाउंट पर intrest मिलेगा और यह एक long टर्म स्कीम है इसका नाम है Public Provident Fund scheme। इस आर्टिकल में जानेंगे Public Provident Fund Meaning in Hindi और अन्य details.
Public Provident Fund Meaning in Hindi क्या है?
Public Provident Fund Meaning in Hindi को जानने के लिए इसकी history से शुरुआत करते है। Public Provident Fund की शुरुआत सन् 1968 में हुई थी। यह काफी पुरानी स्कीम है। इस स्कीम में किसी भी प्रकार का रिस्क नहीं होता और जो भी इन्वेस्टमेंट अमाउंट होगी उस पर टैक्स भी नहीं लगता। यह एक long term investment है और इसमें अच्छे बेनिफिट मिलते हैं।
Public Provident Fund को शुरू करने के पीछे क्या कारण है?
- यह स्कीम उन लोगों के लिए शुरू की गई थी जो unorganized सेक्टर में काम करते हैं।
- वह लोग जिनके पास कोई पेंशन स्कीम नहीं है। ताकि रिटायरमेंट के बाद कोई दिक्कत का सामना नहीं करना पड़े
- जिनके पास एंप्लॉयमेंट प्रोविडेंट फंड नहीं है। उसके लिए भी यह स्कीम निकाली गई।
Public Provident Fund के फायदे क्या है?
- एक long term investment scheme है।
- इसमें इन्वेस्टमेंट अमाउंट पर किसी भी प्रकार का रिस्क नहीं होता।
- इसमें आपको टैक्स भी नहीं देना पड़ता।
- क्योंकि यह स्कीम 1961 के section 80c के अंदर आती है तो आप इसमें 1.5 लाख रुपए तक का टैक्स डिडक्शन भी क्लेम कर सकते हैं।
Public Provident Fund के लिए एलिजिबिलिटी क्या है?
- इसमें अप्लाई करने के लिए भारतीय होना अनिवार्य है।
- एक आदमी एक ही अकाउंट ओपन करवा सकता है।
- माइनर अकाउंट भी खुलवा सकते हैं। लेकिन वह माइनर अकाउंट कोई पैरेंट के अंडर ही होगा।
- इसमें आपको एक फाइनेंसियल ईयर में कम से कम ₹500 तो इन्वेस्ट करने होंगे।
- आप ज्यादा से ज्यादा एक फाइनेंसियल ईयर में ₹150000 तक इन्वेस्ट कर सकते हैं।
Public Provident Fund में अप्लाई करने के लिए क्या-क्या डॉक्यूमेंट चाहिए?
- Public provident fund form Form A
- पासपोर्ट साइज फोटोग्राफ
- PAN card
- आधार कार्ड
Public Provident Fund में कहां से अप्लाई करें?
क्योंकि यह स्कीम सन् 1968 में लॉन्च हो गई थी। उस समय बैंक की इतनी ज्यादा सुविधा उपलब्ध नहीं थी। तो इस स्कीम को पोस्ट ऑफिस में भी खुलवाने का निर्णय लिया गया था। तो आप अगर इस स्कीम में निवेश करवाना चाहते हैं तो पोस्ट ऑफिस और बैंक दोनों में अपना खाता खुलवा कर इन्वेस्ट कर सकते हैं।
यदि आप एक जगह से दूसरी जगह शिफ्ट होते हैं तो अपना खाता एक बैंक अकाउंट या एक पोस्ट ऑफिस से ट्रांसफर करवा के दूसरे बैंक अकाउंट या पोस्ट ऑफिस में शिफ्ट करवा सकते हैं।
यदि इस स्कीम में ऑनलाइन अप्लाई करना चाहते हैं तो आप उनकी ऑफिशियल वेबसाइट पर जाकर इसमें ऑनलाइन अप्लाई कर सकते हैं। ऑफिशल वेबसाइट का लिंक नीचे दिया है। यदि यहां पर क्लिक करेंगे तो सीधा ऑफिशल वेबसाइट पर पहुंच जाएंगे। official website
Public Provident Fund मैं आपको कितना इंटरेस्ट मिलेगा?
यदि आप Public Provident Fund में अप्लाई करते हैं तो इसमें इंटरेस्ट हर क्वार्टर ईयर यानी 4 महीने में बदलता रहता है। इसका इंटरेस्ट रेट 7 परसेंट से 9 परसेंट तक हुआ है। फिलहाल की बात की जाए तो इसका इंटरेस्ट रेट 7.1 परसेंट है। जो कि किसी एफडी के इंटरेस्ट रेट से ज्यादा है। तो यदि आप इसमें इन्वेस्ट करेंगे तो आपका फायदा ही होगा।
पोस्ट ऑफिस की अधिक स्कीम के बारे में जानना चाहते हैं तो यहां पर क्लिक करें।
Post Office Monthly इनकम स्कीम क्या है? Eligibility and Interest Rate?
इस स्कीम का मैचयूरिटी पीरियड कितना है?
एक बार यदि इसमें इन्वेस्ट कर देते हैं तो यह long term इन्वेस्टमेंट स्कीम है। यह स्कीम 15 साल के बाद ही मैच्योर होती है। इस स्कीम में इन्वेस्ट करने के लिए मिनिमम बैलेंस ₹500 है। मतलब हर एक फाइनैंशल इयर में कम से कम ₹500 तो जमा करवाने पड़ेंगे और अधिक से अधिक एक फाइनेंसियल ईयर में ₹150000 तक जमा करवा सकते हैं।
यदि पब्लिक प्रोविडेंट फंड में पैसे जमा नहीं करवाए तो क्या होगा?
यदि पब्लिक प्रोविडेंट फंड में एक फाइनेंसियल ईयर में पैसे जमा नहीं करवाते तो अकाउंट इनएक्टिवेट हो जाएगा। जब भी आप इसे दोबारा एक्टिवेट करवाएंगे तो फाइनेंसियल ईयर का मिनिमम अमाउंट और उसके साथ ₹50 चार्ज देना पड़ेगा।
मतलब यह है कि यदि 2 साल तक अकाउंट इनएक्टिवेट रखते हैं तो आपको 2 साल का मिनिमम फाइनेंसियल बैलेंस यानी हजार रुपए और ₹50 आपको चार्ज के रूप में देना होगा। आप ₹1050 देकर इसे दोबारा से एक्टिवेट करवा सकते हैं।
पब्लिक प्रोविडेंट फंड में टैक्स कितना कटता है?
यह स्कीम 1961 के सेक्शन 80c के अंडर आती है। जिसके तहत आप ₹150000 तक डेढ़ लाख रु. तक की टैक्स कटौती क्लेम कर सकते हैं।
इस आर्टिकल में Public Provident Fund Meaning in Hindi के अलावा उसके फ़ायदे, इंट्रेस्ट रेट, मैच्युरिटी पीरियड आदि डेटेल्स दी गई है। अधिक जानकारी के लिए comment कर सकते है।
यह भी पढ़ें – Senior Citizen Saving Scheme क्या है, Eligibility, Investment और पैंशन?